ना रुकना है,
ना जुकना है,
मन्ज़िल की तरफ़ हमे चलना है।
दोस्त बनाते रहेना है,
दुस्मन कभी किसि को ना बनाना है।
खुदा रहते है जिस दिल मे,
उस दिल मे सिर्फ़ प्यार लाना है,
नफ़रत किसिसे अब ना करनी है।
मिले कांटे,
या मिले फुल रासते मे,
साथ किसिका हमे ना छोडना है।
दुआ के लिये उथे येह हाथ हमारे,
ना कभी येह हथियार बने,
येहि दुआ खुदा से अब करनी है।
ना रुकना है,
ना जुकना है,
मन्ज़िल की तरफ़ हमे चलना है।
Wednesday, March 23, 2011
इन्सान बना रहेना है
आये है जहां मे,
कुछ करके जाना है।
आये है बनके इन्सान,
इन्सान बना रहेना है।
नफ़रत भरे इस जहा मे,
सब्को प्यार सिखा जाना है।
है खुदा सबके दिल मे,
येह अब सब्को समजा जाना है।
बनानेवाला जब एक है हमे,
तोह किसि मे भेद हमे ना करना है।
आये है जहां मे,
कुछ करके जाना है।
आये है बनके इन्सान,
इन्सान बना रहेना है।
मन्ज़िल जब है एक सबकि,
तोह किसि के रासते मे नहि आना है।
कर पाये जितना अच्छा उतना करना है,
मगर किसिका बुरा कुछ भि नहि करना है।
आये है जहां मे,
कुछ करके जाना है।
आये है बनके इन्सान,
इन्सान बना रहेना है।
कुछ करके जाना है।
आये है बनके इन्सान,
इन्सान बना रहेना है।
नफ़रत भरे इस जहा मे,
सब्को प्यार सिखा जाना है।
है खुदा सबके दिल मे,
येह अब सब्को समजा जाना है।
बनानेवाला जब एक है हमे,
तोह किसि मे भेद हमे ना करना है।
आये है जहां मे,
कुछ करके जाना है।
आये है बनके इन्सान,
इन्सान बना रहेना है।
मन्ज़िल जब है एक सबकि,
तोह किसि के रासते मे नहि आना है।
कर पाये जितना अच्छा उतना करना है,
मगर किसिका बुरा कुछ भि नहि करना है।
आये है जहां मे,
कुछ करके जाना है।
आये है बनके इन्सान,
इन्सान बना रहेना है।
समय
चल रहा हु साथ समय के,
बह रहा हु साथ समय के।
ना पता है रास्ते का,
ना खबर है मन्ज़िल कि।
बस दोडता जा रहा हु साथ समय के.
मिलती है खुसिया,
मिलते है गम,
फ़िर भी ना रुकना है काम इसिका।
तक तक करते हुए कत्त जाये,
हर पल येह ज़िदंगी का,
ना करे येह इन्तेज़ार किसिका।
या रुके येह कभी ना।
बस चलता हि जाये,
येह दोडता हि जाये,
साथ हमे भि लेकर जाये।
चल रहा हु साथ समय के,
बह रहा हु साथ समय के।
ना पता है रास्ते का,
ना खबर है मन्ज़िल कि।
बस दोडता जा रहा हु साथ समय के।
बह रहा हु साथ समय के।
ना पता है रास्ते का,
ना खबर है मन्ज़िल कि।
बस दोडता जा रहा हु साथ समय के.
मिलती है खुसिया,
मिलते है गम,
फ़िर भी ना रुकना है काम इसिका।
तक तक करते हुए कत्त जाये,
हर पल येह ज़िदंगी का,
ना करे येह इन्तेज़ार किसिका।
या रुके येह कभी ना।
बस चलता हि जाये,
येह दोडता हि जाये,
साथ हमे भि लेकर जाये।
चल रहा हु साथ समय के,
बह रहा हु साथ समय के।
ना पता है रास्ते का,
ना खबर है मन्ज़िल कि।
बस दोडता जा रहा हु साथ समय के।
Saturday, March 19, 2011
ના જાનતા હુ
ક્યા કહેતા હુ,
ક્યા લિખ્તા હુ.
ક્યા સોચતા હુ,
ક્યા પઢતા હુ.
નહિ કુછ,
અબ મે ના જાનતા હુ.
ક્યો દર્દ હૈ ઇસ દિલ મે,
નહિ કુછ જાનતા હુ.
દિલ મે સિર્ફ તુ હૈ બસી,
યેહ જાનતા હુ.
મગર રહ નહિ પાતા બિન તેરે,
યેહ નહિ જાનતા હુ.
રહેતા હુ ખોયા ખ્યાલો મે,
ક્યો તુમ્હારે,
ના જાન પાતા હુ.
જાનના સિર્ફ ચાહતા હુ,
હોગિ કબ તમન્ના યેહ્,
અબ પુરી મેરી.
ક્યા લિખ્તા હુ.
ક્યા સોચતા હુ,
ક્યા પઢતા હુ.
નહિ કુછ,
અબ મે ના જાનતા હુ.
ક્યો દર્દ હૈ ઇસ દિલ મે,
નહિ કુછ જાનતા હુ.
દિલ મે સિર્ફ તુ હૈ બસી,
યેહ જાનતા હુ.
મગર રહ નહિ પાતા બિન તેરે,
યેહ નહિ જાનતા હુ.
રહેતા હુ ખોયા ખ્યાલો મે,
ક્યો તુમ્હારે,
ના જાન પાતા હુ.
જાનના સિર્ફ ચાહતા હુ,
હોગિ કબ તમન્ના યેહ્,
અબ પુરી મેરી.
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